कोरोना की दूसरी लहर में पहली बार सरकार की तरफ़ से राहत

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Ankit Swetav
  • 28 जून को वित्त मंत्री ने कोरोना से प्रभावित सेक्टर्स के लिए राहत स्कीम्स की घोसना की।
  • खास ध्यान टूरिज्म, लघु उद्योग और हेल्थ केयर सेक्टर पर।

केंद्र सरकार में वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने 28 जून को एक प्रेस कॉन्फ्रेंस को संबोधित किया। इस कॉन्फ्रेंस में उन्होंने देश की अर्थव्यवस्था के रिवाइवल के लिए कुछ स्कीम्स को लॉन्च किया। कुल 8 स्कीम्स को लॉन्च किया गया, जिसमें 4 नए स्कीम्स है और बाकी कुछ अर्थव्यवस्था के रिवाइवल से जुड़े है।

सीतारमण द्वारा किए गए सभी घोषणाओं में पहले से सरकार द्वारा जारी योजनाओं के एक्सपैंशन और कुछ नए योजनाओं का मिश्रण देखने को मिला।

ई सी एल जी एस का लिमिट कुल 1.5 लाख करोड़ रुपए से बढ़ाया गया

इमरजेंसी क्रेडिट लाइन गारंटी स्कीम (ई सी एल जी एस) के पहले, दूसरे और तीसरे चरण में कुल 2. 69 करोड़ रुपए लोन दिए गए थे। ये करीब 1.1 करोड़ लाभार्थियों को दिया गया था।

मगर काम समय में ही अधिक मांग को देखते हुए अब इसकी लिमिट को करीब 1.5 लाख करोड़ तक बढ़ा दिया गया है। जिससे कुल लोन की राशि 3 लाख करोड़ से ज्यादा हो गई है। इसमें से 50,000 कोरोड़ रुपए को सिर्फ हेल्थकेयर सेक्टर के लिए रखा गया है।

कोरोना से बेहाल सेक्टर्स पर मेन फोकस

कोरोना की पहली और दूसरी लहर से खासा प्रभावित टूरिज्म सेक्टर पर इस बार खास ध्यान दिया गया है। इसलिए टूरिस्ट सेक्टर के रिवाइवल के लिए कुल 60,000 करोड़ रुपए के लोन देने की घोषणा की गई है। यह सभी लोन 8.25% की दर से दिए जायेंगे। केंद्र ने सरकारी गारंटी के आधार पर सभी ट्रैवल एजेंट को 10 लाख और सभी रजिस्टर्ड टूरिस्ट गाइड को 1 लाख तक लोन देने की बात की है।

वित्त सचिव टीवी सोमानाथन ने कहा, “31 मार्च 2022 तक लगभग 5 लाख विदेशी पर्यटकों को भारत आने के लिए फ्री वीजा दिया जाएगा। इससे टूरिज्म सेक्टर को थोड़ी राहत मिलने की उम्मीद है। ”

पुरानी सरकारी योजनाओं में भी राहत बढ़ाई

आत्मनिर्भर भारत रोजगार योजना, जिसकी अंतिम तिथि 30 जून 2021 तक थी, उसे बढ़ाकर 31 मार्च 2022 तक कर दिया गया है। इस योजना के तहत लोगों को उनके ईपीएफओ के माध्यम से रोजगार देने का काम चल रहा है। इसमें 22,810 करोड़ रुपए 58.50 लाख लाभार्थियों के लिए जारी की गई है। यह सिर्फ उनके लिए है जिनकी मासिक आय 15,000 रुपए से कम है।

वित्त वर्ष 2020-21 में फर्टिलाइजर सब्सिडी 27,500 करोड़ रुपए थे, जिसे अब वित्त वर्ष 2021-22 में बढ़ाकर 42,275 करोड़ रुपए कर दिया गया। कुल 85,413 करोड़ रुपए किसानों को भुगतान भी किए गए है।

प्रधान मंत्री गरीब कल्याण अन्न योजना (PMGKAY) को भी दूसरे लहर के कारण और आगे बढ़ा दिया गया है। मतलब अब NFSA लाभार्थियों को 5 KG अन्न नवंबर 2021 के अंत तक मुफ्त दिया जाएगा। इस स्कीम में 93,869 करोड़ रुपए अतिरिक्त जोड़े गए है, जिसके बाद PMGKAY की कुल लागत 2,27,841 करोड़ हो गई है।

पब्लिक हेल्थ पर खास नजर

पब्लिक हेल्थ सेक्टर के लिए 23,220 करोड़ रुपए अलग से दिए गए है। यह राशि एक साल के लिए दी गई है। इसमें खास ध्यान बच्चों के आपातकालीन इलाज पर दिया जाएगा। ऐसा कोरोना की थर्ड वेव को नजर में रखनकर किया जा रहा है।

सीतारामन ने कहा,”साथ ही कोरोना के दूसरे लहर को कंट्रोल में रखने के लिए आईसीयू बेड्स की संख्या, पूरे देश के कोने कोने तक ऑक्सीजन सप्लाई और कोरोना टेस्ट की क्षमता को बढ़ाने के लिए भी काम किया जाएगा।”