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वीवीआईपी कल्चर की वजह से फ़्लाईट हुई लेट, केन्द्रीय मंत्री पर बरसी डॉक्टर

by Team TH · November 23, 2017

इंफाल एयरपोर्ट में उस वक़्त एक महिला डॉक्टर, केन्द्रीय मंत्री केजे अल्फोंस के ऊपर भड़क गयी, जब वीवीआईपी प्रोटोकॉल की वजह से उस महिला की फ़्लाईट दो घंटे लेट हो गई. जब मंत्रीजी ने उक्त महिला की बातों का जवाब डिया तो महिला ने उनसे लिखित में अपनी बात रखने को कहा. इस पूरी घटना को किसी ने मोबाइल फोन में रिकॉर्ड कर लिया. प्राप्त जानकारी के मुताबिक महिला अपने किसी करीबी के अंतिम संस्कार में शामिल होने के लिए समय पर घर पहुंचना चाह रही थी. मंत्री अल्फोंस को यहां विमान पकड़ना था और इसकी वजह से महिला की फ्लाइट समेत अन्य उड़ानों में कथित रूप से देर हो रही थी.
ख़बरों के मुताबिक, जिस वक्त डॉक्टर निराला सिन्हा की इंडिगो फ्लाइट को उड़ान भरनी थी उसी वक्त राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद विशेष विमान से इंफाल पहुंचने वाले थे जहां पर उन्हें एक कार्यक्रम में शिरकत करना था. राष्ट्रपति के आगमन और सुरक्षा कारणों को देखते हुए 2 घंटे के लिए इंफाल एयरपोर्ट पर किसी भी विमान की लैंडिंग और उड़ान पर रोक लगा दिया गया था और इसी वजह से निराला सिन्हा की इंडिगो फ्लाइट की उड़ान में भी देरी हुई. इसी बात से नाराज निराला सिन्हा का सारा गुस्सा एयरपोर्ट पर मौजूद केंद्रीय मंत्री केजे अल्फांसो पर उतर गया.

वीडिओ क्रेडिट – ANI

जब उन्होंने मंत्री केजे अल्फांसो को वहां आते देखा तो वह फौरन उनके पास पहुंच गई. उन्होंने तेज आवाज में कहा, ‘मैं एक डॉक्टर हूं, कोई नेता नहीं. मुझे 2:45 बजे पटना जाना था, यह तय समय था. मैंने अपने परिवारवालों को भी इसकी जानकारी दे दी थी.’ महिला ने कंपकंपाती आवाज में कहा, ‘मेरे घर में जो शव है, वह ज्यादा देर होने पर खराब हो जाएगा और इससे बदबू आएगी.’ मंत्री अल्फोंस ने महिला को शांत करने की कोशिश की, लेकिन महिला का गुस्सा शांत नहीं हुआ. महिला ने कहा कि उसे लिखित में यह आश्वासन दिया जाए कि आगे इस तरह से उड़ान में देरी नहीं की जाएगी.
केजे अल्फोंस ने कहा, ‘‘वह रो रही थीं और मैं जानना चाहता था कि क्या हुआ. उसने कहना शुरू कर दिया कि उसे पटना जाना है और एक रिश्तेदार के अंतिम संस्कार में शामिल होना है जो दोपहर में होने वाला है. वह हताश थी क्योंकि उड़ान में विलंब हो रहा था और उसे डर था कि शव सड़ने लगेगा.’’ उन्होंने कहा, ‘‘भारत सरकार के प्रतिनिधि के तौर पर वह चाहती थीं कि मैं इसमें हस्तक्षेप करूं.’’

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